आज तक में इंडिया टुडे ग्रुप के जाने-माने पत्रकार श्याम मीरा सिंह की नौकरी कंपनी की नीतियाँ ना मालने पर चली गई। हाँलाकि उन्होंने सोमवार को ट्विटर पर यह साझा किया, कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की आलोचना करने पर उन्हें नौकरी से निकाल दिया गया है। आपको बता दें कि श्याम ने अपनी 2 ट्वीट के स्क्रीनशॉट शेयर किए हैं जिनमें उन्होंने प्रधानमंत्री की आलोचना की और उन्हें बेशर्म तक बताया है। उसके बाद के ट्वीट में उन्होंने अपनी कंपनी द्वारा भेजे गए टर्मिनेशन लेटर को भी साझा किया है, जिसमें उन्हें नौकरी से निकाले जाने के विषय में सूचित किया गया है।
इस टर्मिनेशन लेटर में मीडिया हाउस द्वारा यह साफ कहा गया है कि पिछली चेतावनियों के बावजूद, श्याम ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर अपने विचारों को प्रसारित करना जारी रखा जो कि कंपनी की सोशल मीडिया पॉलिसी के खिलाफ है।
अक्टूबर 2020 में इंडिया टुडे ग्रुप ने अपने कर्मचारियों को सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म पर व्यक्तिगत राजनीतिक विचारों को विस्तारित करने पर रोक लगाने का आदेश कंपनी की प्रतिष्ठा को बनाए रखने के लिए जारी किया था। इस नीति में यह कहा गया कि इंडिया टुडे ग्रुप के साथ संबंध रखने वाले लोग अपने व्यक्तिगत सोशल मीडिया अकाउंट का प्रयोग सिर्फ ग्रुप से संबंधित जानकारी या प्रचार को ही पोस्ट कर सकते हैं, जिनका उपयोग प्रिंट, डिजिटल या ऑन एयर किया गया हो साथ ही ऐसे व्यक्ति किसी पोस्ट का रिप्लाई भी नहीं कर सकते, वह केवल आईटीजी की जानकारी के साथ ही पोस्ट का जवाब दे सकते हैं। यह नीति विशेष रूप से सभी कर्मचारियों को सोशल मीडिया का उपयोग केवल उन समाचारों के लिए करने की छूट देती है जो सिस्टम द्वारा प्रसारित की गई हो, ना कि व्यक्तिगत विचारों के लिए।
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लैटर आने के बाद फॉलो-अप ट्वीट्स में श्याम ने टर्मिनेशन लेटर का स्क्रीनशॉट शेयर करते हुए यह लिखा कि “मैं बार-बार दोहराना चाहता हूँ कि हाँ! मोदी बेशर्म प्रधानमंत्री है” और तो और अपने अगले ट्वीट में सिंह ने लिखा कि “लोग अपनी डिग्री, शोध पत्र उनके आदर्शों को समर्पित करते हैं। मेरे पास अपनी कंपनी इंडिया टुडे का एक टर्मिनेशन लेटर दिखाने के अलावा कुछ नहीं है, इसलिए मैं अपना टर्मिनेशन लेटर अपने प्यारे दोस्त दानिश सिद्दीकी को समर्पित करना चाहता हूँ, जो अफगानिस्तान में शहीद हुए थे।” अपने दोस्त को टर्मिनेशन लेटर समर्पित करके उन्होंने सहानुभूति लेने की भी कोशिश की।
उनका टर्मिनेटर लेटर वाला ट्वीट वायरल होने के बाद कई नेटिज़न्स ने सिंह पर कटाक्ष किया और उनकी क्षमता पर सवाल उठाया क्योंकि मोदी के कुछ अन्य नफरत करने वाले इंडिया टुडे ग्रुप में अभी भी मौजूद है l जहां एक तरफ कई लोग यह सुझाव दे रहे है कि सिंह अपने सीनियर से सीख सकते थे, कि कैसे अपनी नफरत को छुपा कर अपने उद्देश्य पत्रकारिता का उपयोग करना है, तो वहीं दूसरी तरफ कुछ लोग उन्हें यह समझा रहे हैं कि कंपनी की कुछ पॉलिसीज होती हैं और वह फॉलो की जानी चाहिए, यदि HR की पॉलिसी को नहीं निभाया जाएगा तो एक्शन तो होगा ही और कंपनी ने साफ तौर पर बार-बार चेतावनी दी थी कि अपना एजेंडा चलाने के लिए कंपनी का नाम मत खराब करो लेकिन उन चेतावनीयो का भी सिंह पर कोई खास प्रभाव नजर नहीं आया l